जंगली जानवर ने हमला किया, 2 दिन भूखा प्यासा जंगल में भटका, फिर भी ऐसे ज़िंदा बच गया किस्मत का धनी युवक

डिस्कवरी चैनल पर आने वाले प्रोग्राम Man vs Wild को तो आपने देखा ही होगा कि किस तरह से एक शख्स जंगली परिस्थितियों में ज़िंदा रहने की जद्दोजहद में लगा रहता है, उसी तर्ज पर यूपी का एक युवक 2 दिन जंगल में जंगली जानवरों और घने जंगल में फंसा रहा और उस पर तेंदुआ ने हमला भी किया लेकिन फिर भी किस्मत के धनी इस युवक की जान बच गयी है और आज यह सही सलामत भी सबके सामने है

बिजनौर के एक युवक को चीला के जंगल में सेल्फी लेना भारी पड़ गया। युवक पर अचानक तेंदुए ने हमला कर दिया। युवक जैसे-तैसे जान बचाकर भागा और नदी में गिरकर दो दिन तक नीलधारा और गंगा की मुख्य धारा के बीच जंगल में फंसा रहा। शनिवार को उसने आग जलाकर धुंआ करते हुए मदद मांगी। जिस पर सप्तऋषि चौकी प्रभारी प्रवीण रावत के नेतृत्व में एक पुलिस टीम ने रेस्क्यू आपरेशन चलाकर युवक को बचा लिया

पुलिस के मुताबिक, उत्‍तर प्रदेश के बिजनौर जिला के नागलसोती क्षेत्र के गांव हरचंदपुर निवासी अनुराग ऋषिकेश में गुब्बारों की डेकोरेशन का काम करता है। गुरुवार को अनुराग ऋषिकेश से चीला के रास्ते बिजनौर जा रहा था। चीला पहुंचने पर अनुराग रुककर मोबाइल से सेल्फी लेने लगा। इस बीच उस पर तेंदुए ने हमला कर दिया। जिससे वह गंगा में कूद गया और उसका मोबाइल भी नदी में गिर गया। वह दो दिन तक गंगा की मुख्य धारा और नीलगंगा के बीच फंसा रहा।

शनिवार को अनुराग ने सूझबूझ का परिचय देते हुए मदद मागने के लिए एक तरकीब निकाली। उसने जंगल से लकड़ी इकठ्ठी कर आग जलाते हुए धुआं किया। जगल से धुंआ उठता देख स्थानीय निवासियों ने पुलिस को सूचना दी। जिस पर सप्तऋषि पुलिस चौकी प्रभारी प्रवीण रावत आनन-फानन में अपनी टीम के साथ शदाणी घाट पर पहुंचे और जल पुलिस को बुलाया। इसके बाद एक टीम गंगा की मुख्य धारा को पार कर नीलधारा के करीब जंगल में पहुंची, जहां धुआं उठ रहा था। सामने पुलिस को देख युवक की जान में जान आ गई।युवक ने पूछताछ में बताया कि वह दो दिन से जंगल में फंसा हुआ था। रात के समय पेड़ पर रहकर किसी तरह से उसने जंगली जानवरों से अपनी जान बचाई। जान बचाने के लिए उसने चौकी प्रभारी प्रवीण रावत और पूरी पुलिस टीम का आभार जताया।

डिस्कवरी चैनल पर दिखाए जाने वाले मशहूर कार्यक्रम मैन वर्सेज वाइल्ड में बेयर ग्रिल्स यह बताता है कि जंगल में किस तरह खुद को बचाए रखना है और मदद कैसे मांगनी है। अनुराग ने इसी तर्ज पर धुंए से अपनी मौजूदगी बताई और पुलिस ने बिना देर गंवाए उसे रेस्क्यू कर लिया, नहीं तो उसका जीवन खतरे से घिरा हुआ था। वह या तो भूख प्यास से दम तोड़ देता या फिर खतरनाक जानवरों का निवाला बन जाता। मौत को करीब से देख चुका युवक जंगल में बदहवास था तथा उसको अपनी मौत हर पल करीब आती दिख रही थी लेकिन उसने अपनी सूझबूझ से तरकीब लगाई और जान बचाने में कामयाब हो गया
अन्यथा या तो भूख प्यास से युवक मारा जाता या किसी जंगली जानवर का शिकार हो जाता

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